तहसील में बुधवार को पहुंची एक वृद्धा प्रधानमंत्री के नाम अपनी जमीन का बैनामा करने पर अड़ी रही। वह अपने बहू-बेटों से नाराज थी। आपको बता दें कि वृद्धा की पति की पहले ही मौत हो चुकी है। काफी समझाने के बाद भी वृद्धा किसी को बात मानने के लिए राजी नहीं हुई। बाद में अधिकारियों से सलाह लेने की बात कहकर अधिवक्ताओं ने वृद्धा को लौटाया।
विकास खंड किशनी के गांव चितायन निवासी बिट्टन देवी पत्नी पूरन लाल तहसील स्थित अधिवक्ता कृष्णप्रताप सिंह के बस्ते पर पहुंचीं। 85 वर्षीय बिट्टन देवी ने बताया कि वह अपनी साढ़े 12 बीघा जमीन प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नाम करना चाहती है। बता दें पहले तो यह बात सुनकर अधिवक्ता चौंक गए, लेकिन दोबारा तस्दीक में भी उसने यही बात दोहराई।
इस पर उनसे पूरी जानकारी ली। वृद्धा ने बताया कि उनके पति की मौत हो चुकी है। बता दें उनके दो बेटे और बहुएं हैं, लेकिन वे सभी उसका ख्याल नहीं रखते हैं। सरकार द्वारा दी जा रही वृद्धावस्था पेंशन से ही गुजारा हो रहा है। ऐसे में वह अपने नाम दर्ज भूमि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नाम करना चाहती है। अधिवक्ताओं ने उसे काफी समझाया, लेकिन वह एक भी बात सुनने को तैयार नहीं हुईं। इस पर अधिवक्ताओं ने उन्हें ये कहकर घर भेजा कि वे उप जिलाधिकारी से इस संबंध में वार्ता करेंगे। वृद्धा दो दिन बाद दोबारा आने की बात कहकर लौट गई।